सहायक सौंग एवं सुषवा नदियों की स्वच्छता का प्रस्ताव शीघ्र पारित किये जाने पर हुई विस्तृत चर्चा

ऋषिकेश। नमामि गंगे कार्यों की समीक्षा के लिए जिलाधिकारी देहरादून की अध्यक्षता में गठित जिला गंगा सुरक्षा समिति की मासिक बैठक मुख्य विकास अधिकारी झरना कमठान अध्यक्षता में विकास भवन में आयोजित की गई।समीक्षा बैठक में गतमाह की कार्यवाही की पुष्टि के बाद भिन्न भिन्न बिंदुओं पर चर्चा की गई। बैठक में समिति के नामित सदस्य पर्यावरण विद विनोद जुगलान ने कहा कि गंगा की पूर्ण स्वच्छता तब तक संभव नहीं है जब तक गंगाजी की सहायक नदियों को स्वच्छ नहीं किया जाएगा। उन्होंने सदन को जानकारी देते हुए कहा कि वर्ष 2019 में गंगा की सहायक सौंग एवं सुषवा नदियों की स्वच्छता का प्रस्ताव बैठक के माध्यम से नेशनल मिशन फॉर क्लीन गंगा को प्रेषित किया गया था। जिनकी स्वच्छता की संस्तुति प्राप्त होने के बाद भी आज तक इन नदियों पर स्वच्छता अभियान को आगे नहीं बढ़ाया जा सका है जो कि अप्रसन्नता का विषय है।जुगलान ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में नदी नालों के माध्यम से कूड़ा कचरा गंगाजी में प्रवाहित हो रहा है। इस ओर ध्यान देने की अत्यंत आवश्यकता है।दूसरी ओर बंगाला नाला से भट्टोवाला भल्ला फार्म एवं सेवला नाला से खदरी में कटाव की स्थिति बढ़ रही है जिस पर आपदा प्रबंधन में त्वरित सुरक्षा कार्य किया जाना चाहिए।जबकि ऋषिकेश में विद्युत एवं सह गैस शवदाहगृह की स्थापना सहित खदरी में मुक्ति धाम एवं पूजा घाट के प्रस्ताव को अमल में लाया जाना जनहितकारी होगा।समिति के नामित सदस्य दीपक तायल ने त्रिवेणी घाट के सौंदर्यीकरण करने एवं एसपीएस स्टेशन से शिव मूर्ति तक घाट को आरती एवं नमामि गंगे आयोजनों के लिए संरक्षित करने का सुझाव दिया।उत्तराखंड उद्योग एसोसिएशन के अध्यक्ष नामित सदस्य पंकज गुप्ता ने कहा कि देहरादून में सिंगल यूज प्लास्टिक के प्रयोग करने वालों सहित निगम क्षेत्र में डेरी व्यवसायीयों द्वारा गोबर नालियों में बहाने वालों पर जनहित में शिकंजा कसा जाना चाहिए। सिंगल यूज प्लास्टिक के अनधिकृत प्रयोग का उत्तर देते हुए नगर निगम ऋषिकेश के सहायक नगर आयुक्त चन्द्र कान्त भट्ट ने सदन को बताया कि ऋषिकेश नगर निगम द्वारा लगातार निरीक्षण जारी हैं, अब तक पाँच सौ सत्रह चालान करते हुए दो सौ पचास की ग्राम पोलोथिन जब्त की गई जबकि चार लाख नब्बे हजार का जुर्माना वसूला गया है।बैठक में प्राप्त सुझावों एवं विषयों की गंभीरता को देखते हुए बैठक की अध्यक्षता कर रहीं मुख्य विकास अधिकारी झरना कमठान ने सम्बंधित विभागों को कार्यवाही के निर्देश दिए।सीडीओ ने नगर निगम देहरादून के किसी भी अधिकारी द्वारा बैठक में उपस्थित न रहने पर नाराजगी जताई। इनके अतिरिक्त जनपद देहरादून में एसटीपी के कार्य प्रदर्शन एवं रखरखाव की समीक्षा,सेप्टेज प्रोटोकॉल प्रबन्धन एवं स्लज वाहन संचालन समीक्षा,गंगा यमुना,सुषवा सौंग नदी बाढ़ नियंत्रण एवं जल संरक्षण,घरेलू अघरेलु सीवर संयोजन नाला टेपिंग,नाला सफाई की समीक्षा, सॉलिड वेस्ट प्रबन्धन की स्थिति,वृक्षारोपण कार्यों की समीक्षा की गई।बैठक में जिला विकास अधिकारी सुनील कुमार,उपप्रभागीय वनाधिकारी देहरादून सुनील दत्त बलोनी,नगर निगम ऋषिकेश के सहायक नगर आयुक्त चन्द्र कान्त भट्ट,जिला परियोजना अधिकारी रवि कान्त पाण्डेय,सिंचाई विभाग के अधिशाषी अभियंता दिनेश चन्द्र उनियाल,जल संस्थान ऋषिकेश के अधिशाषी अभियंता हरीश कुमार बंसल,राज्य स्वच्छ गंगा मिशन के सामुदायिक प्रबन्धन विशेषज्ञ डॉ पीसी जोशी,जल निगम देहरादून शाखा के अधिशासी अभियंता जीतमणि बेलवाल,वाप्कोस के इंजीनियर अंकुर सिंह, नगर पालिका परिषद डोईवाला एसआई सचिन रावत सहित बड़ी संख्या में अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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