मुख्य विकास अधिकारी ने ली जिला गंगा संरक्षण समिति की बैठक

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निकायों को ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के साथ पालिका की आय बढ़ाने के दिए निर्देश

चमोली । मुख्य विकास अधिकारी अभिनव शाह की अध्यक्षता में मंगलवार को जिला गंगा संरक्षण समिति की बैठक हुई। जिसमें गंगा नदी की सभी प्रमुख सहायक नदियों के संरक्षण के लिए विभिन्न विभागों के माध्यम से संचालित कार्यों की समीक्षा की गई।

मुख्य विकास अधिकारी ने निर्देश कि जल संस्थान को निर्देश दिए कि कर्णप्रयाग और जोशीमठ में नमामि गंगे द्वारा नव निर्मित एसटीपी की कमियों को दूर करते हुए शीघ्र हैडओवर की कार्रवाई पूरी करें। साथ ही यूपीआरएनएन को औद्योगिक संस्थान कालेश्वर में ईटीपी संचालन शुरू करने के निर्देश दिए। पर्यटन एवं यात्रा व्यवसाय से जुड़े होटल को एसटीपी से संयोजन सुनिश्चित करने को कहा। उन्होंने निर्देश दिए कि जनपद में संचालित सभी एसटीपी का नियमित रूप से तकनीकी निरीक्षण भी किया जाए। वन विभाग को एसटीपी में सीवेज ट्रीटमेंट के बाद बचे कीचड़ (स्लज) का इस्तेमाल खाद बनाने में किया जाए। मुख्य विकास अधिकारी ने नगर पालिका एवं नगर पंचायतों को यूजर्स चार्ज का समय पर क्लेक्शन करते हुए पालिका की आय बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि डोर-टू-डोर कूडा कलेक्शन, सोर्स सेग्रीगेशन पर विशेष फोकस करते हुए नियमों का उल्लंघन करने वालों का चालान किया जाए।
जिला परियोजना अधिकारी गोविन्द सिंह ने विभिन्न विभागों के माध्यम से संचालित कार्यों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जनपद में स्वीकृत 16 एसटीपी का कार्य पूर्ण हो चुका है। जिसमें से 12 एसटीपी जल संस्थान को हैंडओवर किए गए है। इन एसटीपी में 28 नालों को जोड़ा गया है। नगर निकायों में सोर्स सेग्रीगेशन, डोर टू डोर कूडा कलेक्शन, नालियों की नियमित सफाई तथा कूडे से खाद बनाने का काम किया जा रहा है।
बैठक में एसीएमओ डा0 एमएस खाती, एसडीओ प्रियंका सुंडली, जल संस्थान के अधिशासी अभियंता एसके श्रीवास्तव, जिला पर्यटन विकास अधिकारी बृजेंद्र पांडेय, ईओ गोपेश्वर पीएस नेगी सहित वर्चुअल माध्यम से सभी संबंधित अधिकारी एवं नगर निकायों के अधिशासी अधिकारी मौजूद थे।
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