वस्त्र और हस्तशिल्प क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए शुरू की 7 परियोजनाएं 

1 min read

देहरादून । यूरोपीय संघ  और वस्त्र मंत्रालय ने आज भारत के वस्त्र और हस्तशिल्प उद्योग को सशक्त बनाने के लिए सात नई परियोजनाओं की संयुक्त रूप से शुरुआत की, जो वर्तमान में चल रहे भारत टेक्स के दौरान घोषित की गई। इन परियोजनाओं के लिए यूरोपीय संघ द्वारा 9.5 मिलियन यूरो (लगभग 85.5 करोड़ रुपये) का अनुदान दिया गया है। ये पहल संपूर्ण मूल्य श्रृंखला में समावेशी विकास, संसाधन दक्षता और स्थिरता को बढ़ावा देने के साथ-साथ आजीविका और महिला आर्थिक सशक्तिकरण को भी गति देंगी।
इन सात परियोजनाओं को असम, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, ओडिशा, झारखंड, बिहार और हरियाणा सहित भारत के नौ राज्यों में लागू किया जाएगा। इनसे अगले 3 से 5 वर्षों में 35,000 प्रत्यक्ष लाभार्थियों को लाभ मिलेगा, जिसमें 15,000 एमएसएमई, 5,000 कारीगर और 15,000 किसान-उत्पादक शामिल हैं। चूंकि इनमें से कई परियोजनाएं स्थानीय समुदायों और उद्योगों का समर्थन करेंगी, इसलिए अनुमान है कि लगभग 2 लाख महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाया जाएगा, जिससे वस्त्र क्षेत्र अधिक समावेशी, टिकाऊ और समृद्ध बन सकेगा। यह परियोजना भारत में स्थिरता और परिपत्र अर्थव्यवस्था पर यूरोपीय संघ की चल रही साझेदारी को और मजबूत करती है और इसे वस्त्र मंत्रालय की सस्टेनेबल भारत मिशन फॉर टेक्सटाइल्स के साथ जोड़ा गया है। इस वित्त पोषण का एक हिस्सा यूरोपीय संघ की ग्लोबल गेटवे रणनीति के अंतर्गत आता है। भारत का वस्त्र और परिधान क्षेत्र 45 मिलियन से अधिक लोगों को रोजगार प्रदान करता है, जिसमें 60 प्रतिशत महिलाएं शामिल हैं। हालांकि, इस क्षेत्र में उत्सर्जन, ऊर्जा उपयोग, जल खपत और पुनर्चक्रण के निम्न स्तर जैसी चुनौतियां अभी भी बनी हुई हैं।

Copyright, Shikher Sandesh 2023 (Designed & Develope by Manish Naithani 9084358715) © All rights reserved. | Newsphere by AF themes.